नैनीताल: उत्तराखण्ड हाई कोर्ट ने सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद एससीएसटी एक्ट में केंद्र सरकार द्वारा संसोधन किये जाने पर कार्यवाहक मुख्य न्यायधीश राजीव शर्मा व न्यायधीश न्यायमूर्ति मनोज कुमार तिवारी की खण्डपीठ ने केंद्र सरकार से तीन सप्ताह में जवाब पेश करने को कहा है।
मामले के अनुसार, हाई कोर्ट के अधिवक्ता सनप्रीत अजमानी ने जनहित याचिका दाखिल कर केंद्र सरकार की 17 अगस्त 2018 के एससीएसटी एक्ट की अधिसूचना को चुनौती दी है। उन्होंने अपनी जनहित याचिका में कहा है कि सुप्रीम कोर्ट ने एसीएसटी एक्ट को लेकर आदेश दिया था, मगर केन्द्र सरकार ने उस आदेश के प्रभाव को समाप्त करने के लिए एक्ट में संशोधन किया गया जो असंवैधानिक है। याचिका में कहा गया है कि ये संविधान की धारा 14,19 व 21 के तहत असंवैधानिक है। जिसकी पुनर्विचार याचिका अभी सुप्रीम कोर्ट में लम्बित है और केंद्र इसमें संसोधन विधेयक ला गयी है जो असवैधानिक है। मामले में खण्डपीठ ने सुनवाई करते हुए केंद्र सरकार से तीन सप्ताह में जवाब पेश करने को कहा है अगली सुनवाई तीन सप्ताह के बाद की नियत की है।