देहरादून: प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष प्रीतम सिंह के नेतृत्व में कांग्रेस पार्टी के एक षिश्टमण्डल ने आज मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत से उनके आवास पर भेंटकर कोरोना महामारी के चलते बढ़ाये गये लाॅक डाउन के कारण उत्पन्न हुई परिस्थितियों एवं जनहित के विभिन्न मुद्दों पर वार्ता की।
उन्होंने मुख्यमंत्री को अवगत कराया कि रवि की फसलें पक कर तैयार हैं तथा मजदूरों के पलायन तथा लाॅक डाउन के कारण कटाई षुरू नहीं हो पा रही है। इसलिए फसलों की कटाई के लिए लाॅक डाउन में छूट प्रदान की जानी चाहिए। उन्होंने मुख्यमंत्री को यह भी अवगत कराया कि प्रदेष के कई जनपदों में विगत रात्रि हुई भारी ओलावृश्टि के कारण किसानों की फसलों, फल, सब्जी के उत्पादों को भारी नुकसान हुआ है। कोरोना महामारी के चलते लाॅक डाउन के कारण पहले से ही मार झेल रहे इन किसानों के सामने भारी संकट खड़ा हो गया है। अतः सभी किसानों को उनकी फसलों का उचित मुआबजा दिया जाय तथा किसानों के सभी प्रकार के ऋण माॅफ किये जांय। उन्होंने पूर्व से निर्धारित आपदा नियमों में भी परिवर्तन करने की मांग की।
कांग्रेस अध्यक्ष प्रीतम सिंह द्वारा मुख्यमंत्री के संज्ञान में यह भी लाया गया कि अन्य प्रदेष में रोजगार के लिए गये राज्य के नौजवान एवं मजदूर विभिन्न राज्यों में फंसे हुए है। लाॅक डाउन के बढ़ने की स्थिति में इन लोगों के सामने खाद्यान्न एवं सुरक्षा का संकट खड़ा हो गया है इसलिए वहां की राज्य सरकारों से बात कर उनकी घर वापसी सुनिष्चित की जानी चाहिए।
उन्होंने मुख्यमंत्री से कोरोना महामारी में पीडितों की सेवा में लगे चिकित्सकों, चिकत्साकर्मियों, सुरक्षा कर्मियों, सफाई कर्मियों, आषा कर्मियों के सुरक्षा कवच की बीमाराषि 50 लाख किये जाने की भी मांग की। उन्होंने कहा कि ये लोग अपना घर-बार छोडकर रात-दिन एक करते हुए पीडितों की सेवा में लगे हैं इसलिए उनके मन में अपनी तथा अपने परिवार की असुरक्षा की भावना नहीं आनी चाहिए।
उन्होने मीडिया को अवगत कराया कि मुख्यमंत्री ने आष्वासन दिया है कि राज्य सरकार उनके सुझावों पर अमल करेगी। उन्होंने यह भी कहा कि जिन किसानों के मटर की फसल का उठान नहीं हो पा रहा है, उनकी फसलों को हल्द्वानी स्थित प्रोसेसिंग प्लाट भिजवाया जायेगा।
कांग्रेस प्रतिनिधिमण्डल में प्रदेश अध्यक्ष प्रीतम सिंह के अलावा महानगर अध्यक्ष लालचन्द षर्मा, पूर्व मंत्री अजय सिह, डाटा विभाग के अध्यक्ष दीवान सिंह तोमर षामिल थे।