रानीखेत: जैनोली पिलखोली के जंगल में बसे दुर्गम क्षेत्र के गांव के पास बड़ी संख्या में टेरेरिस्टो के पनाह लेने की सूचना सेना को मिलती है। चौबटिया हेड क्वाटर से ऑपरेशन शुरु किया जाता है। करीब 30 टेरेरिस्ट मोर्चे पर जमा होते है। भारत की 15 गढवाल रेजीमेंट व अमेरिका की सैन्य टूकड़ी ने युद्धाभ्यास के दौरान कोरडन एण्ड सर्च ऑपरेशन कर वारदात करने को छिपे आंतकवादियों को ढूंढ निकाल कर इन्हे खत्म कर दिये जाने का सफल अभ्यास किया। जिसमें 10 को पकड़ लिया गया व 20 को डिस्ट्राय कर दिया गया। दोनो देशो की सैनिक टुकड़ी ने एक दूसरे की टैकनिक को साझा किया। मेजर जनरल कविन्द्र सिंह व अमेरिका के सैन्य अधिकारी विलियम ग्राहम ने पूरे कार्यक्रम का निरिक्षण किया। इस अवसर पर दोनो देशो के कई सैन्य अधिकारी उपस्थित रहे।
क्षेत्र में टेरेरिस्ट छिपे होने की खबर मिलती है। सैनिक टुकड़ियों के द्वारा पूरे गांव को घेर लिया जाता है। सर्च कर मिली खबर के बाद हेलीकॉप्टर से स्पॉट पर रस्सी के सहारे सैनिक उतारे जाते है। जो टेरेरिस्टो को समाप्त करते हैं। घायल हुए सैनिक को लेने भारत निर्मित हेलीकाप्टर आकर उस घायल को स्टेच्र से सैनिक चिकित्सालय ले जाता है। यह पूरी कार्यवाही दोनो ही राष्ट्रो के सैनिको ने बेहतर तरीके से अन्जाम दिया।