यूपी के मुजफ्फरनगर में शनिवार शाम हुए भीषण ट्रेन हादसे में मरने वालों की संख्या 24 हो गई है। हादसे में करीब 150 से ज्यादा लोग घायल बताए जा रहे हैं शनिवार को हुए इस रेल हादसे पर उत्तराखंड सीएम त्रिवेंद्र सिंह रावत ने दुख व्यक्त किया और मुख्य सचिव और हरिद्वार जिला प्रशासन को परिस्थितियों पर नजर बनाए रखने को कहा है।
हैलो उत्तराखंड से बात करते हुए एसएसपी हरिद्वार ने बताया कि घटना के तुरंत बाद ही हरिद्वार जिलाधिकारी ने पुलिस अधीक्षक, उप जिलाधिकारी, सीओ और पुलिस के जवानों को घटना स्थल के लिए रवाना किया और स्वयं हरिद्वार इमरजेंसी सेंटर से नजर बनाए हुए हैं। उन्होंने बताया कि प्रशासन द्वारा दुर्घटना प्रभावितों की हर संभव मदद की जा रही है। वहीं उन्होंने अवगत कराया कि अभी तक 350 से ज्यादा यात्रियों को हरिद्वार में शरण दी जा चुकी है और राहत एवं बचाव कार्य जारी है।
हैलो उत्तराखंड से बात करते हुए जिलाधिकारी दीपक रावत ने बताया किघायल यात्रियों के लिए हरिद्धार प्रशासन द्वारा बंगाली अस्पताल और हरिमिलाप अस्पताल में घायलों को इलाज के लिए भेजा जा रहा है। और जो यात्री हरिद्वार में रूकना चाहते हैं उनके लिए पूरी व्यवस्था हरिद्वार के प्रेमनगर और शांतिकुंज आश्रम में की गई है।
वहीं नोडल तहसीलदार सुनैना राणा ने हैलो उत्तराखंड को बताया किअभी तक 98 यात्री शांतिकुंज आश्रम और 260 यात्री प्रेमनगर आश्रम में ठहरे हुए हैं। जिनको पूरी सुविधाएं मुहैया करवाई जा रही हैं।
इस रेल हादसे का कारण सीधे तौर पर रेलवे विभाग की बड़ी लापरवाही है। जानकारी के अनुसार घटनास्थल के पास पटरियां सही की जा रही थी, जहाँ से औजार भी बरामद हुए हैं। लेकिन सवाल यह है कि जब रेलवे प्रशासन पटरी पर काम करवा रहा था तो कैसे ट्रेन को रवाना करने की इजाजत मिल गई? क्या प्रशासन को यात्रियों की कोई चिंता नहीं? इस घटना से तो यही साबित होता है कि रेलवे प्रशासन को तनिक भी यात्रियों की चिंता नहीं है, अगर होती तो ट्रेन को रोक दिया जाता या फिर रूट बदल दिया जाता।
हरिद्वार जिला प्रशासन हेल्पलाइन नंबर- 01334-223999 ।