पिथौरागढ़: पूर्व मुख्यमंत्री रमेश पोखरियाल निशंक को जान से मारने की धमकी देने के आरोप से बरी युवक जिला मुख्यालय में भूख हड़ताल पर बैठ गया है। युवक का कहना है कि, पुलिस ने झूठे मुकदमे में उसे फंसाया, जिससे उसका पूरा भविष्य बर्बाद हो गया है। साथ ही युवक ने पुलिस अभिरक्षा और मुकदमे की पैरवी में हुए नुकसान की भरपाई की माँग की है।
भूख हड़ताल पर बैठे ज़िले के बंगापानी तहसील के सीलिंग गाँव के मनोज कुमार ने बताया कि, 2010 में किसी अज्ञात व्यक्ति ने देहरादून पुलिस को फ़ोन कर तत्कालीन मुख्यमंत्री रमेश पोखरियाल को बम से उड़ाने की धमकी दी थी। जिसके बाद पुलिस ने मनोज को धमकी देने के आरोप में गिरफ्तार किया। जिसके चलते उसे चार महीने जेल में गुजारने पड़े। हालांकि बाद में अदालत ने साक्ष्यों के अभाव में मनोज को दोषमुक्त करार दे दिया।
मनोज का कहना है कि, इस दौरान पुलिस ने उसके साथ बुरी तरह मारपीट की, जिससे उसके स्वास्थ्य पर भी विपरीत प्रभाव पड़ रहा है। साथ ही करीब छः साल चले मुकदमे में उसके 15 लाख रूपये भी बर्बाद हो गए। मनोज ने सरकार से हर्जाने के तौर पर नौकरी दिए जाने के साथ ही उसके भविष्य से खेलने वाले पुलिसकर्मियों को सजा देने की मांग की है। बता दें कि, मनोज इन सभी मांगो को लेकर इससे पहले 26 जनवरी 2018 को भी आमरण अनशन चुका है। लेकिन प्रशासन द्वारा उचित कार्यवाही का भरोसा देकर उसका अनशन तुड़वा दिया गया।