नई दिल्ली: मीटू के खिलाफ चल रहे देशव्यापी आंदोलन के बीच केंद्रीय महिला एवं बाल विकास मंत्रालय ने ऐसे मामलों की जांच के लिए एक कमेटी गठित करने का ऐलान किया था, लेकिन अब इसमें बदलाव किया गया है। महिला एवं बाल विकास मंत्रालय के सूत्रों का कहना है कि सरकार ऐसे मामलों की जांच के लिए अब मंत्रियों का एक समूह बनाने पर विचार कर रही है। यह समूह ही #MeToo कैंपेन से जुड़ी शिकायतों पर हर पहलू से संज्ञान लेगा। मंत्रियों के समूह की रिपोर्ट पर ही सरकार ऐसे मामलों पर कार्रवाई और रोकथाम के लिए कदम उठाएगी। इस समूह की अध्यक्षता की कमान किसी महिला मंत्री को देने पर बात चल रही है।
बता दें कि महिला एवं बाल विकास मंत्री मेनका गांधी मी टू मामलों को लेकर काफी गंभीर रहीं। उन्होंने ऐसे मामलों की जांच कराने की बात कही थी। मेनका गांधी ने जजों की कमेटी का ऐलान किया था।
बता दें कि इनदिनों दुनियाभर में चल रहा कैंपेन भारत में काफी जोर पकड़ रहा है। मी टू मुहिम के तहत यौन उत्पीड़न में फंसने वाले हस्तियों में सबसे चौंकाने वाला नाम एमजे अकबर का है। बता दें कि दिग्गज पत्रकार रहे एमजे अकबर मोदी सरकार में विदेश राज्य मंत्री रहते यौन उत्पीड़न के केस में फंसे हैं। उन पर 16 महिला पत्रकारों ने यौन शोषण के आरोप लगाए हैं। जिस पर विपक्ष एमजे अकबर को पद से हटाने की मांग कर रहा है। मी टू में एमजे अकबर के फंसने पर बीजेपी की मोदी सरकार असहजता का सामना कर रही है। हालांकि इस मामले में एमजे अकबर ने सबसे पहले आरोप लगाने वाली पत्रकार पर मानहानि का केस भी किया है।