देहरादूनः हाईकोर्ट ने राज्य के पूर्व मुख्यमंत्रियों की सरकारी आवास व अन्य सुविधाओं का बकाया माफ करने सम्बंधित पुनर्विचार याचिका खारिज कर दी है। बता दें कि नैनीताल हाईकोर्ट ने उत्तराखंड के पूर्व मुख्यमंत्रियों के आवास आवंटन को अवैध बताते हुए उन्हें छह माह के भीतर बकाया किराया जमा करने का आदेश दिया था। जिसके लिए राहत के लिए पूर्व मुख्यमंत्री विजय बहुगुणा व भगत सिंह कोश्यारी की ओर से याचिका दायर की गई थी। जिसे कोर्ट ने खारिज कर दिया है। अब पूर्व मुख्यमंत्रियों को बकाया किराया जमा करना होगा।
जानकारी के अनुसार पूर्व मुख्यमंत्री भगतसिंह कोश्यारी व विजय बहुगुणा ने हाईकोर्ट में पुनर्विचार याचिका दायर की थी। जिसमें उन्होंने पूर्व मुख्यमंत्री काल का किराया बाजार दर पर वसूलने के आदेश पर पुनर्विचार की अपील की। पूर्व मुख्यमंत्री भगतसिंह कोश्यारी ने अपनी पुनर्विचार याचिका में कहा है कि उनसे 30500 रु प्रतिमाह की दर से किराया वसूला जा रहा है । कोश्यारी ने कहा है कि जो आवास उन्हें आवंटित हुआ था वह सिंचाई विभाग की सम्पत्ति है और किराया भी सिंचाई विभाग को वसूलना चाहिए जबकि उन्हें किराए का नोटिस सरकार की ओर से दिया गया है । इसी तरह पूर्व सीएम विजय बहुगुणा ने भी बाजार दर पर किराया वसूलने के आदेश पर पुनर्विचार की अपील की है । बहुगुणा के आवास का किराया प्रतिमाह करीब 39 हजार निर्धारित किया गया है ।कोश्यारी पर कुल 47 लाख व विजय बहुगुणा पर 37 लाख का बकाया है । कोर्ट ने मामले में सुनवाई पूरी कर फैसला सुरक्षित रख लिया था। मुख्य न्यायाधीश रमेश रंगनाथन व न्यायमूर्ति रमेश चन्द्र खुल्बे की खण्डपीठ ने आज फैसला सुनाते हुए पुनर्विचार याचिका निरस्त कर दी है। अब पूर्व मुख्यमंत्रियों को बकाया किराया जमा करना होगा।
गौरतलब है कि देहरादून की गैरसरकारी संस्था रूरल ने जनहित याचिका दायर कर पूर्व मुख्यमंत्रियों भगत सिंह कोश्यारी,स्व. पं नारायण दत्त तिवारी, रमेश पोखरियाल निशंक, भुवन चंद्र खंडूड़ी व विजय बहुगुणा को सरकारी आवास आवंटित किये जाने का मामला उठाया था, जिन पर कुल 2.85 करोड़ रूपये की धनराशि बतौर किराया आंकी गयी थी। पूर्व सीएम डॉ रमेश पोखरियाल निशंक पर 40,95,560 रूपये, भुवनचंद्र खंडूड़ी पर 46,59,776 रूपये व पूर्व मुख्यमंत्री विजय बहुगुणा पर 37,50,638 रूपये की बकाया है। पूर्व मुख्यमंत्री भगत सिंह कोश्यारी पर 4757758 रूपये, स्व एनडी तिवारी पर 1,12,98182 रूपये बकाया है।