नई दिल्ली: केंद्रीय गृहमंत्री और भाजपा अध्यक्ष अमित शाह आगामी आठ सितंबर को दो दिन के दौरे पर असम जाएंगे। वे गुवाहाटी में नॉर्थ ईस्ट काउंसिल की बैठक में हिस्सा लेंगे। जहां इस दौरान वे आठ राज्यों के राज्यपाल और मुख्यमंत्रियों से मुलाकात करेंगे। भाजपा असम और पूर्वोत्तर के राज्यों में करोड़ों विदेशी लोगों के होने का दावा कर रही थी। वहीँ एनआरसी की अंतिम सूची में कई खामियांं सामने आई हैं। इसमें कारगिल युद्ध में भाग लेने वाले सैनिक, पूर्व विधायक का नाम नहीं है।
एनआरसी प्रक्रिया की निगरानी सीधे सुप्रीम कोर्ट कर रहा है और सरकार अदालत के निर्देशों पर ही इस पर काम कर रही है। एनआरसी की रिपोर्ट आने के बाद राज्य के केवल 19 लाख लोग ही राष्ट्रीय नागरिकता के दायरे से बाहर है। इनमें से भी करीब तीन लाख लोगों ने कोई दावा ही नहीं किया और इनके लिए अभी अपील की गुंजाइश है।
वहीँ भारतीय विदेश मंत्रालय की ओर से कहा गया कि एनआरसी में जिनके नाम नहीं हैं, वे राष्ट्र विहीन नहीं हैं और उन्हें सभी उपलब्ध विकल्पों को अपनाने की सलाह दी है। दूसरी तरफ, राष्ट्रीय नागरिक रजिस्टर के जारी होने के बाद भाजपा के सुर में भी तेजी से बदलाव आया है। ऐसे में अमित शाह का असम दौरा कई माने में अहम है।