बागेश्वर: बागेश्वर ऐतिहासिक उतरायणी मेले में विभिन्न प्रजातियों के बेसकीमती जड़ी-बूटियों औऱ उनीवस्त्रों का बाजार लगाया गया है। इन बाज़ारों में विभिन्न प्रकार की जड़ी-बूटि जैसे जम्बूगनधरायणी, हींग, कालाजीरा, जंगली हल्दी, जंगली लहसुन, सत्तू, चोरगाय का दूध आदी जैसी औषधीय वस्तुओं का व्यापार करने आ रहे हैं। इसके साथ ही उनीवस्त्रों में हस्तनिर्मित थुलमा, कम्बल, चुटका, दन, ऊनी बनियान आदि कई वर्षों से यहां उत्तरायणी मेले में औषधीय और उनीवस्त्रों का व्यापार करने लोग दूर-दराज से उतरायणी मेले में पहुंच रहे हैं। हालांकि आज बदले सामाजिक स्वरूप और बदलते खान-पान के कारण युवा पीढ़ी को इन विभिन्न प्राकृतिक औषधीय वस्तुओं के विषय में जानकारी नहीं है।
मेले में व्यापारी ने बताया वो कई सालों से लगातार बागेश्वर के उत्तरायणी मेले में औषधीय वस्तुओं को बेचने आते रहे है। इन जड़ी-बूटि व्यापारियों ने राज्य सरकार से अलग नीति बनाने और वेध लाइसेंसे देने की मांग की है जिससे ये लोग और अधिक से अधिक औषधीय वस्तुओं के कारोबार को आगे बढ़ा सके। वहीं व्यापारी आशा देवी ने कहा कि पिछले दो साल पहले तक लोगों में औषधीय वस्तुओ की मांग अधिक थी, लेकिन अब मांग कम है।