मोदी लहर में कांग्रेस की कम होती पकड़ को से तो हर कोई वाकिफ है लेकिन कांग्रस के राजनेता इस बात को मानने से हमेशा ही बचते है लेकिन प्रेस ट्रस्ट ऑफ़ इंडिया को दिए गए साक्षात्कार के दौरान कांग्रेस के वरिष्ट नेता जयराम रमेश ने इस बात को मानते हुए कहा की कांग्रेस ‘अस्तित्व के संकट’ से गुजर रही है। जयराम रमेश ने कहा प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी तथा भाजपा प्रमुख अमित शाह की ओर से मिल रही चुनौतियों का पार्टी नेताओं को मुकाबला समन्वित कोशिश करके करना होगा।
उन्होने कहा, “हां, कांग्रेस पार्टी बहुत गंभीर संकट का सामना कर रही है।” पहले कांग्रेस ने 1996 से 2004 तक ‘चुनावी संकट’ का सामना किया, जब वह सत्ता से बाहर थी। पार्टी ने फिर 1977 में भी चुनावी संकट का सामना किया था जब वह आपातकाल के ठीक बाद चुनाव हार गई थी। “लेकिन आज, मैं कहूंगा कि कांग्रेस अस्तित्व के संकट का सामना कर रही है। सचमुच में, पार्टी गंभीर संकट में है।”
कांग्रेस नेता ने कहा, “हमें समझना होगा कि हम मोदी-शाह के विरोध में हैं और वे अलग सोचते हैं, अलग करते हैं और अगर हमने अपने दृष्टिकोण को नहीं बदला तो हम अप्रासंगिक हो जाएंगे।” उन्होंने कहा कि कांग्रेस पार्टी को यह भी मानना होगा कि भारत बदला है, “पुराने नारे काम नहीं करते, पुराना फार्मूला काम नहीं करता, पुराना मंत्र काम नहीं करता। भारत बदल गया है, कांग्रेस पार्टी को बदलना होगा।”
कांग्रेस के कद्दावर नेता भी मोदी सरकार की नीतियों का लोहा मानते हुए कांग्रेस को बदलने की सलाह दे रहे है तो अब तो कम-से-कम कांग्रेस को अपने अस्तित्व की रक्षा के लिए अपने ही पार्टी के वरिष्ट नेताओं की बात पर जरा गौर फरमाना चाहिए।