रुद्रप्रयाग: केदारनाथ पैदल यात्रा में इस बार घोडे और खच्चरों से जाने वाले तीर्थ यात्रियों की लोकेशन की जानकारी प्रशासन के पास भी रहेगी। इसके लिए यहां आवागमन के मुख्य साधन, घोडे व खच्चरों की लोकेशन जानने के लिए रेडियो फ्रिक्वेन्सी चिप का इस्तेमाल किया जायेगा। जिससे तीर्थ यात्रियों के परिजनों को अपनों के बारे में सटीक जानकारी मिल सकेगी।
गौरतलब है कि 29 अप्रैल से भगवान केदारनाथ की यात्रा शुरु होनी है और यात्रा से जुडे सभी विभाग अपनी तैयारियों में जुटे हुए हैं। पशुपालन विभाग जहां घोडे व खच्चर संचालकों के पंजीकरण बीमा व उनको ब्यवहारिक शिष्टाचार का पाठ सिखा रहा है। वहीं इस बार घोडे व खच्चरों पर रेडियो फ्रिक्वेन्सी चिप लगाई जायेगी, जो 16 किमी पैदल मार्ग पर तीर्थयात्री की सही लोकेशन की जानकारी दे सके। अक्सर देखने को मिलता है कि ग्रुप में चलने वाले तीर्थयात्री अपने सहयोगी से बिछड जाते हैं और घण्टों तक उनकी जानकारी नहीं मिल पाती है, जिससे कई बार अफरा-तफरी का माहौल भी बन जाता है। इससे निपटने के लिए विभाग द्वारा रेडियो चिप लगाना कारगर साबित हो सकता है। विभाग का मानना है कि इस बार करीब पांच हजार घोडे व खच्चर यात्रा के दौरान रहेंगे, ऐसे में तीर्थ यात्रियों की सुरक्षा के साथ पशुओं के भी सुरक्षित संचालन को लेकर तैयारियां की जा रही हैं। यही नहीं इस बार जानवरों व उनके संचालकों का अलग से भी डाटा-बैंक तैयार किया जायेगा, जिससे किसी को भी कहीं पर परेशानी ना हों।