नई दिल्ली: सुप्रीम कोर्ट ने लगातार तीसरी बार फिल्म पद्मावती पर रोक लगाए जाने वाली याचिका को खारिज कर दिया है। साथ ही सुप्रीम कोर्ट ने उन मुख्यमंत्रियों और अधिकारियों को भी फटकार लगाई है जो बिना फिल्म देखे ही बयान दे रहे हैं। इतना ही नहीं कोर्ट ने यह भी कहा कि सार्वजनिक कार्यालयों में बैठे लोगों को ऐसे मुद्दों पर टिप्पणी नहीं करनी चाहिए।
कोर्ट ने कहा कि अगर कोई ऐसा करता है तो वो कानून के, राज्य के सिद्धांत का उल्लंघन करेगा। साथ ही कोर्ट ने यह सवाल उठाया कि बिना फिल्म को देखे ही जिम्मेदार पद पर बैठे लोग इसके लेकर कैंसे बयान दे सकते हैं? विरोध करने वालों को यह बात दिमाग में रखनी चाहिए कि हम कानून व राज्य के तहत शासित होते हैं। जब सीबीएफसी के पास मामला लंबित हो तो जिम्मेदार लोगों को कोई टिप्पणी नहीं करनी चाहिए।
बता दें कि गुजरात, राजस्थान और मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री ने इस फिल्म को लेकर बड़ा बयान दिया और फिल्म का भी विरोध किया था।