नैनीताल: हाइकोर्ट ने रानीखेत कैंटोनमेंट बोर्ड में अनियमितता और भ्रष्टाचार के मामले में दायर जनहित याचिका में सुनवाई करते हुए कैंटोनमेंट बोर्ड को स्थिति स्पष्ट करने के निर्देश दिए हैं। मुख्य न्यायाधीश के0एम जोसेफ़ और न्यायमूर्ति आलोक सिंह की खंडपीठ में मामले की सुनवाई करते हुए मामले की अगली सुनवाई 18 सितंबर तय की है।
बता दे कि अल्मोड़ा निवासी ललित मोहन ने हाइकोर्ट में याचिका दायर कर कहा था कि रानीखेत कैंटोनमेंट बोर्ड में 7 चयनित सदस्य और 6 एक्स ऑफिसर्स भी बोर्ड के सदस्य हैं।
कैंटोनमेंट एक्ट के तहत बोर्ड में आधे सदस्यों का मीटिंग में उपस्थित होना अनिवार्य होता है। लेकिन बोर्ड द्वारा जो भी मीटिंग की जा रही है वो इस मानक को दरकिनार करते हुए चयनित सदस्यों को शामिल किये बिना ही कर लेते है।
याचिका में बोर्ड की ओर से 10 मार्च 2017 को पारित एजेंडा पर रोक लगाने की मांग करते हुए इस प्रकरण की किसी निष्पक्ष एजेंसी से जांच कराने की मांग की थी। दोनों पक्षों की सुनवाई के बाद हाइकोर्ट की खंडपीठ ने बोर्ड को स्थिति स्पष्ट करने के निर्देश दिए है।