करते हुए शहीद का सम्मान- जल्द हो मोटर पुल का समाधान

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रुद्रप्रयाग

मंयक ध्यानी

जब कोई जवान देश के लिए अपना बलिदान देता है तो वो इतिहास के पन्नों में अमर हो जाता है। उसके सम्मान में देश और राज्य सरकार उसके नाम से कई तरह के स्मारक बना गौरवांवित होती हैं।

लेकिन नरिमन हाउस 26/11 के शहीद गजेन्द्र बिष्ट के नाम से बनने वाला मोटर पुल मार्ग जिओ जारी होने के बाद भी प्रशासन की उदासीनता का शिकार बना हुआ है।

हाट बस्ती मोटर पुल मार्ग को राष्ट्रीय राजमार्ग-109 से जोड़ने के लिए मंदाकिनी नदी में 110 मीटर का ये मोटर पुल मार्ग आपदा के बाद सेंशन हुआ था। गांववालों के बड़े हाथ पांव मारने के बाद हरीश रावत सरकार ने ठीक चुनाव से पहले मोटर पुल के लिए 9 जनवरी 2017 को 14 करोड़ 38 लाख स्वीकृत कर जिओ जारी कर दिया था। लेकिन वो पुल आज तक अधूरा है ।

जिसके कारण मोटर मार्ग पुल को केदारनाथ हाईवे से जोड़ना अभी तक शहीद गजेन्द्र बिष्ट के गांव का सपना ही बना हुआ है।

जब स्थानीय निवासी प्रमोद सिंह ने हैलो उत्तराखंड से अपनी और अपने जैसे सभी ग्रामिणों की समस्या बताई तो हमने ऊखिमठ लोक निर्माण विभाग अधिशाषी अभियंता को इस मामले पर जल्द से जल्द संज्ञान लेने के लिए कहा।

जिसके बाद अधिशाषी अभियंता ने बताया कि आचार संहिता के चलते इस मोटर पुल मार्ग की कार्यवाही को आगे नहीं बढाया जा सका लेकिन मोटर पुल मार्ग पर जल्द कार्यवाही का विश्वास दिलाते हुए अधिकारी ने हमें अगले महीने इस पर टेंडर प्रक्रिया शुरू करने की बात कही है।

हालांकि इस खबर पर हमारी पूरी नजर बनी रहेगी।  प्रदेश की कोई भी छोटी से बड़ी समस्या हमारी अपनी समस्या है, जिसका समाधान हम हर हाल में करने का प्रयास करते है।

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